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क्रिया के जिस रूप में कर्म प्रधान हो, उसे कर्मवाच्य कहते हैं या जहाँ क्रिया का संबंध सीधा कर्म से हो तथा क्रिया का लिंग तथा वचन कर्म के अनुसार हो, उसे कर्मवाच्य कहते हैं। पुस्तक मदन के द्वारा लिखी गयी
'निराधार' का संधि विच्छेद है-
देश के हर नागरिक को स्वस्थ और पोषित रखना सरकार का कर्त�...
काबिल (1) / व्यक्ति (2) / डराते है।(3) / न डरते है (4) / और न किसी को (5) इस...
नीचे दिए वाक्यों में से कुछ में त्रुटियाँ हैं और कुछ ठीक ह�...
"देवालय" का सही संधि विच्छेद क्या है?
कौन-सा शब्द 'दैत्य' का पर्यायवाची नहीं है?
““ सबसे अलग स्थिति ” किस लोकोक्ति का अर्थ हैं ?
निम्नलिखित में से कौन-सा शब्द विशेष्य है?
'विद्यागृह' में कौन सा समास है?
ब्राह्मी लिपि से देवनागरी लिपि के विकास का अनुक्रम निम्न�...