Question

निम्‍नलिखित प्रश्‍नों में दिए गए अनुच्‍छेदों के पहले और अन्तिम वाक्‍यों को क्रमश: (1) और (6) की संज्ञा दी गई है। इसके मध्‍यवर्ती वाक्‍यों को चार भागों में बाँटकर (य), (र), (ल), (व) की संज्ञा दी गई है। ये चारों वाक्‍य व्‍यवस्थित क्रम में नहीं हैं। इन्‍हें ध्‍यान से पढ़कर दिए गए विकल्‍पों में से उचित क्रम चुनिए, जिससे सही अनुच्‍छेद का निर्माण हो।

 (1) विज्ञान का जीवन तीन सौ वर्षों से अधिक नहीं है। कम-से-कम प्रायोगिक विज्ञान के सम्‍बन्‍ध में यह निश्‍चय के साथ कहा जा सकता है।

(य) इसीलिए विज्ञान के चमत्‍कारों की चकाचौंध में हम नहीं पड़ें।

(र) उनसे ऊपर उठकर हम प्रेम, सौहार्द्र और मैत्री के स्‍त्रोत मानवात्‍मा की ओर मुड़ें

(ल) मनुष्‍य की देह नहीं, उसकी आध्‍यात्मिक और नैतिक चेतना को धारण करने वाली उसकी आत्‍मा हमारा लक्ष्‍य हो

(व) परन्‍तु मनुष्‍य जाति का सांस्‍कृतिक जीवन सहस्‍त्रों वर्ष पुराना है और उसे छोड़ना सम्‍भव नहीं है।

(6) सर्वोदय का सन्‍देश यही है।

A व य र ल Correct Answer Incorrect Answer
B य र व ल Correct Answer Incorrect Answer
C ल व र य Correct Answer Incorrect Answer
D व ल र य Correct Answer Incorrect Answer

Solution

विज्ञान का जीवन तीन सौ वर्षों से अधिक नहीं है। कम-से-कम प्रायोगिक विज्ञान के सम्‍बन्‍ध में यह निश्‍चय के साथ कहा जा सकता है। परन्‍तु मनुष्‍य जाति का सांस्‍कृतिक जीवन सहस्‍त्रों वर्ष पुराना है और उसे छोड़ना सम्‍भव नहीं है। इसीलिए विज्ञान के चमत्‍कारों की चकाचौंध में हम नहीं पड़ें। उनसे ऊपर उठकर हम प्रेम, सौहार्द्र और मैत्री के स्‍त्रोत मानवात्‍मा की ओर मुड़ें  मनुष्‍य की देह नहीं, उसकी आध्‍यात्मिक और नैतिक चेतना को धारण करने वाली उसकी आत्‍मा हमारा लक्ष्‍य हो सर्वोदय का सन्‍देश यही है।

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